भारत में कोविड-19 वायरस का कहर लगातार कम होता जा रहा है. कोविड-19 की दूसरी लहर ने देश में भारी नुकसान पहुचाया है. हेल्थ एक्सपर्ट्स कोविड-19 की तीसरी लहर आने की आशंका जता रहे हैं. हाल ही में देश में कोरोना के डेल्टा प्लस वेरिएंट की पुष्टि हुई है. हेल्थ एक्सपर्ट्स के अनुसार, चार ओर ऐसे वेरिएंट्स हैं, जो संक्रमण का खतरा बढा सकते है.
TOI की एक रिपोर्ट के अनुसार, भारत में 4 अन्य कोरोना वेरिएंट्स को मॉनिटर किया जा रहा है. इसमें B.1.1.318 वेरिएंट, लैम्ब्डा (C.37), B.1.617.3 वैरिएंट(B.1.617.2), और कप्पा वेरिएंट (B.1.617.1) शामिल हैं. हालांकि, ये सभी 4 कोरोना वेरिएंट्स डेल्टा या डेल्टा प्लस वेरिएंट की तुलना में इतने ज्यादा प्रभावी नहीं हैं.
देश में 2 कोविड-19 वैरिएंट पहले से मौजूद
देश में कोरोना के B.1.1.318 और B.1.617.3 वैरिएंट पहले से मौजूद हैं. एक्सपर्ट्स ने चिंता जताई है कि ये सभी वैरिएंट्स बाहरी देश से देश में एंटर कर सकते हैं. समय रहते ही इसकी जांच होनी चाहिये नही तो स्थिति कंट्रोल से बाहर हो सकती है.
ये बड़ी जानकारी द पब्लिक हेल्थ इंग्लैंड ने दी
बता दे कि कोविड-19 के डबल म्यूटेंट B.1.617 का पहला केस महाराष्ट्र में पाया गया था. इसके बाद 3 और वेरिएंट्स की पुष्टि की गई थी. WHO ने B.1617.2 को डेल्टा वेरिएंट और B.1.617.1 को कप्पा वेरिएंट का नाम दिया है. वहीं, द पब्लिक हेल्थ इंग्लैंड ने बताया कि इसके लैम्ब्डा वेरिएंट की निगरानी की जा रही है. यह कोरोना वेरिएंट कई देशों में पाया गया है.
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