न्यू दिल्ली: किसान संगठन कृषि कानूनों को रद्द करने की मांग को लेकर लगभग 8 महीनो से प्रदर्शन कर रहे है. आज वे दिल्ली के जंतर-मंतर पर प्रदर्शन करने वाले है. अब वे प्रत्येक दिन जंतर-मंतर पर जुटेंगे. किसान यूनियनों इसे “किसान संसद” बता रहे है. संसद के मानसून सत्र के बीच जंतर-मंतर पर किसानों के विरोध को देखते हुए, दिल्ली के सभी बॉर्डर पर सुरक्षा बढ़ा दी गई है. पूरे इलाके में भारी फोर्स आ चूकी है.
दिल्ली पुलिस ने बताया कि 200 किसानों का एक ग्रुप पुलिस की सुरक्षा में बसों में सिंघू बॉर्डर से जंतर-मंतर आएगा. वे आज से सुबह 11:00 बजे से शाम 5:00 बजे तक प्रदर्शन कर सकेंगे. कृषि कानूनों के खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर रहे किसान यूनियनों को एक शपथपत्र देने को बोला गया है कि आंदोलन शांतिपूर्ण और सभी कोविड नियमों के पालन के साथ किया जाएगा.
पालन करना होगा कोरोना नियमों को
दिल्ली पुलिस ने किसान यूनियनों को लिखित में प्रदर्शन की कोई परमीशन नहीं दी है. लेकिन दिल्ली सरकार से उन्होंने धरना-प्रदर्शन की औपचारिक इजाजत मिल चुकी है. इस आदेश के अनुसार 22 जुलाई से 9 अगस्त तक सुबह 11-5 बजे तक 200 किसानों ही धरना दे सकते हैं. धरने में सम्मलित सभी प्रदर्शनकारी को कोरोना नियमों का पालन करना होगा.
दिल्ली में कोरोना के कारण इस समय धारा 144 लागू है, जिसके चलते कहीं भी भीड़ इकट्टा नहीं हो सकती. लेकिन किसानों को दिल्ली सरकार ने इन दिशानिर्देशों में संशोधन कर उन्हें ये इजाजत दी है. ये बता दे कि 26 जनवरी को इसी साल पूरे देश ने दिल्ली में हुए तांडव को देखा था. हजारों किसानों ने बैरिकेड तोड़ पुलिसकर्मी पर हमले किये और लाल किले की प्राचीर पर एक धार्मिक ध्वज तक फहरा दिया था. लेकिन इस बार शायद दिल्ली पुलिस वो गलती नही करने वाली है.
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