IMA की पासिंग आउट परेड में उत्तराखंड के सपूतों ने जमकर दम दिखाया है। अकादमी में उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए मिलने वाले 2 अहम पुरस्कार स्वर्ण और रजत पदक उत्तराखंड के नाम ही रहे।
भारतीय सेना का हिस्सा बने 341 कैडेट
वहीं देशभर के 341 कैडेटों में से 37 कैडेटों के साथ उत्तराखंड इस बार 3 नंबर पर रहा। IMA से पासआउट होने वाला हर 12वां अधिकारी देवभूमि से ही आता है। वहीं भारतीय सेना का हर 5वां जवान भी इसी उत्तराखंड में जन्मा है।
अल्मोड़ा के दीपक सिंह को मिला गोल्ड मेडल
ध्याड़ी गांव अल्मोड़ा के दीपक सिंह ने स्वर्ण पदक से नवाजे गए हैं। उनके पिता त्रिलोक सिंह भी फौज से ही हवलदार पद पर रिटायर हुए हैं। शुरुआत से ही दीपक की इच्छा थी कि वह सैन्य अफसर बनें। उनकी प्रारंभिक शिक्षा राष्ट्रीय मिलिट्री स्कूल बेंगलुरु से हुई थी। अपनी परिश्रम और लगन से उन्होंने एनडीए की प्रवेश परीक्षा पास की। अब उनका सपना पूरा हो गया है.
अल्मोड़ा के दक्ष ने हासिल किया रजत पदक
रजत पदक हासिल करने वाले दक्ष कुमार पंत भी उत्तराखंड से ही आते हैं। उनके पिता हेमंत पंत भी सेना में ब्रिगेडियर के पद पर तैनात हैं। पंत परिवार मूल रूप से अल्मोड़ा के सर्प गांव का रहने वाला है। दक्ष ने SRM विश्वविद्यालय चैन्नई से बीटेक किया है।
राजस्थान के मुकेश को मिला स्वॉर्ड ऑफ ऑनर
सैन्य परिवार के राजस्थान के मुकेश को आईएमए का प्रतिष्ठित अवार्ड स्वॉर्ड ऑफ ऑनर मिला है। उनके पिता मनोहर लाल भी एक फौजी थे। उनका बड़ा भाई मनीश एयरफोर्स में है। और छोटा भाई महेश सेना में है।
किसान के बेटे को मिला कांस्य पदक
पंजाब के लवनीत ने कांस्य पदक हासिल कर एक मुकाम हासिल किया है। लवनीत के पिता रूपेंद्र सिंह कृषक और मां परवीन कौर ग्रहणी हैं। लवनीत का बचपन से ही फौज को जाने का सपना था। आज उनका सपना पूरा हो चुका है। वह एक अच्छा अफसर बनकर देश का नाम रोशन करेंगे।
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